नई दिल्ली। अगर आप स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBI) के ग्राहक हैं तो यह खबर आपके लिए है, बैंक ने आज यानि पहली अक्तूबर से अपनी अधिकतर सेवाओं पर सेवा शुल्क में बदलाव किया है। मंगलवार को स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की तरफ से 52 तरह की अलग-अलग सेवाओं पर बदले हुए सेवा शुल्क के बारे में जानकारी दी गई है। इन सेवाओं में चेक बुक, डेबिट कार्ड, कैश डिपॉजिट और कैश निकालना, डिमांड ड्राफ्ट, डेबिट कार्ड, लॉकर, खाता बंद करना, पुराने रिकॉर्ड की जानकारी, NEFT, RTGS और IMPS सेवाओं के शुल्क शामिल हैं।
SBI के मुताबिक करेंट एकाउंट की चेकबुक के लिए पहली अक्तूबर से नए सेवा शुल्क हैं, 50 चेक की चेकबुल के लिए हर एक वित्त वर्ष में फ्री मिलेगी, इसके ऊपर अगर चेक बुक लेते हैं तो हर एक चेक के लिए 3 रुपए और जीएसटी अलग से वसूला जाएगा। यानि 25 चेक वाली चेकबुक 75 रुपए और जीएसटी मिलाकर दी जाएगी। 50 चेक की चेकबुक अलग से लेने पर 150 रुपए और जीएसटी अलग से वसूला जाएगा।
सेविंग एकाउंट के लिए 10 चेक वाली चेकबुक एक वित्त वर्ष के लिए फ्री में मिलेगी, इसके ऊपर अगर चेकबुक लेते हैं तो 10 चेक वाली चेकबुक के लिए 40 रुपए और जीएसटी अलग से वसूला जाएगा और 25 चेक वाली चेकबुक के लिए 75 रुपए और जीएसटी अलग से लिया जाएगा। इमरजेंसी में अगर आपको चेकबुक लेनी है तो ब्रांच जाकर 10 चेक वाली चेकबुक 50 रुपए और जीएसटी देकर प्राप्त कर सकते हैं।
करेंट एकाउंट में अगर औसत मासिक बैलेंस (AMB) नहीं रखा होगा तो पी सेग्मेंट और अन्य सेग्मेंट के करेंट एकाउंट से 500 रुपए मासिक और जीएसटी अतीरिक्त वसूला जाएगा। बचत खातों की बात करें तो मेट्रो सिटी तथा शहरी क्षेत्रों की शाखाओं के खातों में अगर मासिक बैलेंस (AMB) निर्धिरित सीमा (3000 रुपए) से 50 प्रतिशत तक कम होगा तो खाता धारक से 10 रुपए तथा जीएसटी लिया जाएगा। बैलेंस अगर 50-75 प्रतिशत तक कम है तो 12 रुपए और जीएसटी तथा 75 प्रतिशत से कम बैलेंस पाए जाने पर 15 रुपए तथा जीएसटी वसूला जाएगा। सेमी अर्बन और ग्रामीण इलाकों के लिए भी अलग-अलग सेवा शुल्क निर्धारित किए गए हैं।